सूर्य का कन्या राशि में गोचर (17 सितंबर 2025)
सूर्य का कन्या राशि में गोचर: सूर्य महाराज 17 सितंबर 2025 की रात 01 बजकर 38 मिनट पर कन्या राशि में गोचर करने जा रहे हैं। सूर्य का कन्या राशि में गोचर विस्तार, व्यावहारिकता और अनुशासन के लिए जाना जाता है। यह जातक को फोकस, स्पष्टता और चीजों को व्यवस्थित करने की इच्छा प्रदान कर सकता है। एस्ट्रोसेज एआई का यह विशेष लेख आपको “सूर्य का कन्या राशि में गोचर” के बारे में समस्त जानकारी प्रदान करेगा। साथ ही, सूर्य के इस राशि परिवर्तन के दौरान आपको किन उपायों को करना चाहिए, यह भी हम आपको बताएंगे।

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सूर्य का कन्या राशि में गोचर: ज्योतिष में सूर्य का महत्व
यदि किसी जातक की कुंडली में सूर्य मजबूत स्थिति में विराजमान हो तो ये जातक को जीवन में सभी आवश्यक संतुष्टि, अच्छा स्वास्थ्य और एक तेज दिमाग प्रदान करता है। एक मजबूत सूर्य जातकों को सकारात्मक परिणाम के साथ-साथ अपार सफलता भी प्रदान करता है और यह आपको सही निर्णय लेने में मार्गदर्शन भी करता है, जिसके चलते आप जीवन में तेजी से आगे बढ़ सकते हैं। ऐसे जातक एडमिनिस्ट्रेशन और नेतृत्व से जुड़े क्षेत्रों में अपनी चमक बिखेरते हैं। साथ ही, यह लोग ध्यान और अध्यात्म से संबंधित क्षेत्रों में भी महारत हासिल करते हैं। सूर्य ग्रह जब अपनी राशि सिंह या अपनी उच्च राशि मेष में होते हैं तो जातक को आपार सफलता प्रदान करते हैं।
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सूर्य का कन्या राशि में गोचर: राशि अनुसार प्रभाव और उपाय
मेष राशि
मेष राशि के जातकों के लिए सूर्य पांचवें भाव के स्वामी हैं और सूर्य का कन्या राशि में गोचर छठे भाव में होगा।
इस समय आपके बच्चों की सेहत में कुछ दिक्कतें आ सकती हैं। आपका ध्यान भी थोड़ा भटका हुआ रह सकता है और मन में असुरक्षा जैसी भावनाएं आ सकती हैं।
करियर के क्षेत्र में काम का बोझ बढ़ सकता है। इसके चलते आप नौकरी बदलने का विचार भी कर सकते हैं।
अगर आप व्यापार करते हैं तो आशंका है कि इस समय उम्मीद के अनुसार सफलता नहीं मिल पाएं और परिणाम उसके विपरीत मिले।
सूर्य का कन्या राशि में गोचर आपके खर्चों में वृद्धि कर सकता है। इस अवधि आपके लिए अधिक धन लाभ प्राप्त करना मुश्किल हो सकता है।
आपके और अपनों के बीच बहस या तकरार हो सकती है और यह विवाद आपसी समझ की कमी को कारण हो सकता है।
स्वास्थ्य के मोर्चे पर, इस अवधि में आप अपनी डाइट यानी खान-पान को लेकर सतर्क रहें। इस दौरान पाचन से जुड़ी दिक्कतें हो सकती हैं।
उपाय: प्रतिदिन 41 बार “ऊँ नमो नारायण” का जाप करें।
वृषभ राशि
वृषभ राशि वालों के लिए सूर्य आपकी कुंडली के चौथे भाव के स्वामी हैं और सूर्य का कन्या राशि में गोचर आपके पांचवें भाव में होगा। इस गोचर के प्रभाव से आप अपने बच्चों की प्रगति के बारे में अधिक सोच सकते हैं और शेयर बाज़ार या सट्टा जैसे क्षेत्रों में लाभ की प्राप्ति होगी।
करियर के क्षेत्र में, संभावना है कि इस समय काम का दबाव ज़्यादा रहे। साथ ही, वरिष्ठ अधिकारियों से तालमेल बैठाना मुश्किल हो सकता है। उनके सहयोग की कमी के कारण तनाव बढ़ सकता है।
बिज़नेस करने वालों के लिए, यह समय थोड़ा चुनौतीपूर्ण हो सकता है। कई अच्छे मौक़े आपके हाथ से निकल सकते हैं जिससे आपका आत्मविश्वास थोड़ा कम हो सकता है।
धन की स्थिति भी इस समय उतनी मजबूत नहीं रहेगी। आशंका है कि भाग्य का साथ अपेक्षित रूप से न मिले और इस वजह से बड़ा आर्थिक लाभ मिलना मुश्किल हो सकता है।
व्यक्तिगत जीवन में, जीवनसाथी के साथ अनबन या मतभेद हो सकता है और यह आपसी समझ की कमी के कारण हो सकता है।
स्वास्थ्य की बात करें तो, पेट दर्द या पाचन से जुड़ी तकलीफ हो सकती है, जिससे आशंका है कि असहजता महसूस हो।
उपाय : शुक्रवार को भगवान लक्ष्मी नारायण के लिए यज्ञ-हवन करें।
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मिथुन राशि
मिथुन राशि वालों के लिए सूर्य आपकी कुंडली के तीसरे भाव के स्वामी हैं और अब सूर्य का कन्या राशि में गोचर चौथे भाव में होगा।
आपके बच्चों की ओर से आपको खुशी मिलेगी और उनका सहयोग आपके मन को प्रसन्न रखेगा। इसके अलावा, आप अधिक लाभ कमाने में सफल होंगे।
इस दौरान आपको नई जॉब से जुड़ी ज़िम्मेदारियां मिल सकती हैं और ऑनसाइट यानी विदेश या बाहरी स्थान जाने के अवसर भी बन सकते हैं।
अगर आप व्यापार करते हैं, तो आप सामान्य व्यवसाय की तुलना में शेयर मार्केट, सट्टा आदि से ज़्यादा लाभ कमाने में सफल होंगे।
आर्थिक रूप से आप मज़बूत रहेंगे। अच्छी कमाई होगी और आप धन बचा भी पाएंगे। इस समय आप धन संचय करने में सफल हो सकते हैं।
आपके जीवनसाथी के साथ संबंध अच्छे रहेंगे। आप दोनों साथ में खुशियां बांट पाएंगे और एक-दूसरे की भावनाओं को समझ पाएंगे।
आपकी मानसिक प्रसन्नता आपकी सेहत को भी अच्छा बनाए रखेगी। आपकी इम्युनिटी (प्रतिरोधक क्षमता) भी मज़बूत रहेगी, जिससे आप स्वस्थ महसूस करेंगे।
उपाय- गुरुवार को बृहस्पति ग्रह के लिए यज्ञ-हवन करें।
कर्क राशि
कर्क राशि के लिए सूर्य आपके दूसरे भाव के स्वामी हैं और सूर्य का कन्या राशि में गोचर तीसरे भाव में होगा।
इस समय आपके कामों में रुकावटें आ सकती हैं और आपकी कोशिशों में देरी हो सकती है। साथ ही, आपके पास मौजूद कीमती चीजें या पैसे किसी लापरवाही के कारण खो सकते हैं।
करियर में भी बहुत ज़्यादा तरक्की नजर नहीं आ रही है, जिससे असंतोष महसूस हो सकता है और आप नौकरी बदलने का विचार कर सकते हैं।
व्यवसाय में लाभ की कमी हो सकती है क्योंकि आपकी योजना और प्रबंधन में कुछ कमी रह सकती है। इस समय प्रतिस्पर्धा की भावना भी थोड़ी कम हो सकती है।
आर्थिक रूप से, खासकर यात्रा करते समय, आपकी लापरवाही और बिना योजना के कारण धन हानि की संभावना है।
निजी जीवन में, जीवनसाथी से कहासुनी या बहस हो सकती है जो रिश्ते में खटास ला सकती है।
स्वास्थ्य के मामले में भी पेट से जुड़ी दिक्कतें या कंधों में दर्द जैसे परेशानी हो सकती है, इसलिए खानपान और आराम का ध्यान रखें।
उपाय- प्रतिदिन 44 बार “ॐ राहवे नमः” का जाप करें।
सिंह राशि
सिंह राशि वालों के लिए सूर्य आपकी कुंडली के पहले भाव के स्वामी हैं और सूर्य का कन्या राशि में गोचर दूसरे भाव में होगा।
इस समय पारिवारिक जीवन में कुछ परेशानियां आ सकती हैं, जैसे घर के सदस्यों से मतभेद या पैसों की कमी महसूस होना।
करियर के क्षेत्र में भी आपके ऊपर काम का दबाव बढ़ सकता है, जिससे वरिष्ठ अधिकारियों से बहस या कहासुनी होने की संभावना है। बिज़नेस में इस समय प्रतिस्पर्धा बढ़ सकती है और कुछ नुकसान भी हो सकता है। वहीं, पारिवारिक तनाव के कारण जीवनसाथी से भी अनबन हो सकती है।
आर्थिक रूप से, आपकी आमदनी और खर्चों में संतुलन बना पाना आपको कठिन लग सकता है। आपके खर्चे आपकी आमदनी से अधिक हो सकते हैं।
निजी जीवन में भी पारिवारिक मतभेदों के कारण जीवनसाथी से बहस हो सकती है।
सेहत की बात करें तो, आशंका है कि आंखों में जलन या तकलीफ हो, जिससे असहजता महसूस हो सकती है।
उपाय- प्रतिदिन 44 बार “ॐ भौमाय नमः” का जाप करें।
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कन्या राशि
कन्या राशि वालों के लिए सूर्य बारहवें भाव के स्वामी हैं और सूर्य का कन्या राशि में गोचर आपके पहले भाव में होगा।
इस समय आपकी कोशिशों में देरी हो सकती है और जो काम आप लंबे समय से कर रहे हैं, उनमें समय लग सकता है। साथ ही, आपको लंबी यात्राओं पर जाना पड़ सकता है।
करियर में काम का दबाव बहुत ज़्यादा रह सकता है और इससे निपटने के लिए आपको पहले से योजना बनाकर चलना होगा।
व्यवसाय में भी लाभ कमाने के लिए आपको कड़ी मेहनत करनी पड़ेगी, लेकिन तुरंत सफलता मिलना थोड़ा मुश्किल हो सकता है।
आर्थिक जीवन के मामले में आप थोड़ी लापरवाही कर सकते हैं, जिससे अनावश्यक खर्च बढ़ सकते हैं और चिंता हो सकती है।
निजी जीवन में अहंकार की वजह से जीवनसाथी से मतभेद हो सकते हैं, जिससे रिश्ते पर नकारात्मक असर पड़ सकता है।
सेहत के मामले में पेट से जुड़ी गंभीर समस्या हो सकती है, खासकर बाहर का या अस्वस्थ खाना खाने से, इसलिए अपने खानपान का विशेष ध्यान रखें।
उपाय- प्रतिदिन 41 बार “ऊँ नमो नारायण” का जाप करें।
तुला राशि
तुला राशि वालों के लिए सूर्य ग्यारहवें भाव के स्वामी है। सूर्य का कन्या राशि में गोचर आपके बारहवें भाव में होगा।
इस समय आपको लाभ भी होंगे और खर्चे भी बढ़ सकते हैं, यानी एक तरफ सफलता मिलेगी तो दूसरी ओर कुछ असफलताएं भी हो सकती हैं, जिससे आशंका है कि आप पूरी तरह संतुष्ट महसूस न करें।
करियर में विदेश से जुड़े किसी नए नौकरी के अवसर मिल सकते हैं, लेकिन संभावना है कि वे उतने शानदार या लाभदायक न हो जितना आपने उम्मीद की होगी।
व्यवसाय में आपको कठ़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ सकता है, जिससे दबाव बढ़ेगा और मुनाफे में गिरावट आ सकती है।
आर्थिक रूप से, आपकी आमदनी में उतार-चढ़ाव रह सकता है और यह धन को संभालने के आपके तरीके के कारण हो सकता है।
निजी जीवन में, जीवनसाथी से बातचीत की कमी के कारण संभावना है कि आप रिश्ते में संतुष्ट महसूस नहीं करेंगे।
सेहत के मामले में आपको पेट और पाचन से जुड़ी समस्याएं परेशान कर सकती हैं, इसलिए अपने खानपान पर ध्यान देना ज़रूरी है।
उपाय- प्रतिदिन 44 बार “ॐ भार्गवाय नमः” का जाप करें।
वृश्चिक राशि
वृश्चिक राशि वालों के लिए सूर्य दसवें भाव के स्वामी है। सूर्य का कन्या राशि में गोचर आपके ग्यारहवें भाव में होगा।
यह समय आपके लिए बेहद शानदार रहने वाला है। आप अपनी कोशिशों में सफलता पाएंगे और अपने सपनों को साकार करने में सक्षम होंगे। आप अपने लक्ष्य तय करने में सफल होंगे और उन्हें पाने की दिशा में आगे बढ़ेंगे।
करियर के क्षेत्र में भी यह समय अच्छा है। आपको कोई नई नौकरी मिल सकती है जो आपके करियर को नई दिशा देगी और तरक्की के रास्ते खोलेगी।
व्यवसाय में भी यह समय बहुत अच्छा है, आप ज्यादा मुनाफा कमा सकते हैं और खुद को एक सफल व्यवसायी के रूप में स्थापित कर सकते हैं। आप किसी नए बिज़नेस की शुरुआत भी कर सकते हैं।
आर्थिक रूप से, यह समय आपको बड़ा धन लाभ दे सकता है और आप अच्छी बचत भी कर पाएंगे।
निजी जीवन में भी जीवनसाथी के साथ आपका रिश्ता और गहरा होगा और जिससे प्यार और समझ बढ़ेगी।
सेहत की बात करें तो इस समय आपकी ऊर्जा बहुत अच्छी रहेगी और आप जोश से भरे रहेंगे, जिससे आप खुद को फिट और उत्साही महसूस करेंगे।
उपाय- प्रतिदिन 44 बार “ॐ मंगलाय नमः” का जाप करें।
बृहत् कुंडली : जानें ग्रहों का आपके जीवन पर प्रभाव और उपाय
धनु राशि
धनु राशि वालों के लिए सूर्य नौवें भाव के स्वामी हैं। सूर्य का कन्या राशि में गोचर आपके दसवें भाव में होगा।
इस समय आप अपने सिद्धांतों पर चलने वाले और ऊंचे लक्ष्य रखने वाले व्यक्ति बनेंगे। आप खुद को बेहतर बनाने और ऊंचाई तक पहुँचने की कोशिश में लगे रहेंगे।
करियर के क्षेत्र में आपको नई नौकरी के अवसर मिल सकते हैं जो आपके लिए सफलता का रास्ता खोलेंगे।
व्यवसाय में भी आपकी सोच बड़ी होगी और आप अच्छे मुनाफे के लिए मजबूत योजना बनाएंगे। आप अपने बिज़नेस में ऊंचे मानदंड स्थापित करेंगे।
आर्थिक जीवन में भी भाग्य आपका साथ देगा और आपको अच्छा लाभ होगा। साथ ही, धन कमाने और बचत करने में सफल होंगे।
निजी जीवन में जीवनसाथी के साथ आपका रिश्ता मधुर रहेगा और आपके मन की आकर्षक ऊर्जा रिश्ते में खुशियां लाएगी, जिससे आपका रिश्ता मजबूत होगा।
स्वास्थ्य की दृष्टि से भी यह समय अच्छा रहेगा और आपको कोई बड़ी समस्या का सामना नहीं करना पड़ेगा।
उपाय- प्रतिदिन 44 बार “ॐ गुरवे नमः” का जाप करें।
मकर राशि
मकर राशि वालों के लिए सूर्य आठवें भाव के स्वामी है और सूर्य का कन्या राशि में गोचर आपके नौवें भाव में होगा।
इस समय आपको पारिवारिक जीवन में कुछ तनाव और मतभेद का सामना करना पड़ सकता है, जिससे मन थोड़ा उदास रह सकता है।
करियर के क्षेत्र में, आशंका है कि प्रगति के अवसर कम प्राप्त हो और आपको संतोषजनक लेकिन सीमित सफलता मिल सकती है।
व्यवसाय में अधिक मुनाफा पाने के लिए आपको ठोस और समझदारी से भरी योजनाएं बनानी होंगी। साथ ही, गहराई से विचार करने की आवश्यकता होगी।
आर्थिक जीवन के मामले में आपकी आमदनी तो होगी लेकिन साथ ही खर्चे भी ज़्यादा रह सकते हैं, जिससे संतुलन बनाना मुश्किल हो सकता है।
निजी जीवन में भी जीवनसाथी से बहस हो सकती है और यह पारिवारिक विवादों की वजह से हो सकता है।
सेहत की बात करें तो इस समय आंखों में जलन या परेशानी हो सकती है, इसलिए आपके लिए अपना ध्यान रखना बेहद जरूरी होगा।
उपाय- प्रतिदिन 44 बार “ऊँ शिवाय नमः” का जाप करें।
कुंभ राशि
कुंभ राशि वालों के लिए सूर्य सातवें भाव के स्वामी हैं और सूर्य का कन्या राशि में गोचर आपके आठवें भाव में होगा।
इस समय आप अपने दोस्तों और संबंधों में मधुरता बनाए रखने में थोड़ी कठिनाई महसूस कर सकते हैं और आशंका है कि जो भी काम आप कर रहे हैं, उसमें आपको पूरी तरह खुशी न मिले।
करियर के क्षेत्र में आप नौकरी बदलने का विचार कर सकते हैं ताकि आपको संतोष और एक अच्छी पहचान मिल सके। इस दौरान पदोन्नति (प्रमोशन) की संभावना भी बन सकती है।
व्यवसाय में मुनाफा कमाने में कुछ संघर्ष हो सकता है और कभी-कभी नुकसान भी उठाना पड़ सकता है।
आर्थिक जीवन में खर्चे ज़्यादा होंगे और उन्हें संभालना मुश्किल हो सकता है, इसलिए बेहतर होगा कि पहले से ही बेहतर तरीके से योजना बना लें।
निजी जीवन में जीवनसाथी के साथ तालमेल बनाए रखना ज़रूरी होगा और आपको धैर्य से काम लेना पड़ेगा।
सेहत की दृष्टि से, समय पर खाना न खाने की वजह से पाचन से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं, इसलिए अपने खानपान का ध्यान रखें।
उपाय- प्रतिदिन 44 बार “ॐ शनैश्चराय नमः” का जाप करें।
मीन राशि
मीन राशि वालों के लिए सूर्य छठे भाव के स्वामी हैं और सूर्य का कन्या राशि में गोचर सातवें भाव में होगा।
इस समय आपको अपने दोस्तों और करीबी रिश्तों में कुछ परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। यात्राओं के दौरान रुकावटें आ सकती हैं और आराम व सुख-सुविधाओं में भी कमी महसूस हो सकती है।
करियर के क्षेत्र में आप अपने काम से संतुष्ट नहीं रहेंगे और इसका असर आपके प्रदर्शन पर भी पड़ सकता है।
व्यापार में लापरवाही और गलत प्रबंधन के कारण नुकसान हो सकता है, इसलिए ध्यान से काम करना जरूरी है।
आर्थिक जीवनकी बात करें तो इस दौरान खर्चे ज़्यादा रहेंगे, जिन्हें संभालना आपके लिए थोड़ा मुश्किल हो सकता है।
निजी जीवन में आप और आपके जीवनसाथी के बीच अहंकार की वजह से मनमुटाव हो सकता है, जिससे रिश्तों में तनाव आ सकता है।
स्वास्थ्य के मामले में आपको अपने जीवनसाथी की तबीयत को लेकर चिंता हो सकती है और इलाज पर खर्च भी करना पड़ सकता है।
उपाय- प्रतिदिन 33 बार “ॐ दुर्गाय नमः” का जाप करें।
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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
1. सूर्य का कन्या राशि में गोचर कब होगा?
सूर्य देव कन्या राशि में 17 सितंबर 2025 की दोपहर 01 बजकर 38 मिनट पर गोचर करेंगे।
2. ज्योतिष में सूर्य किसके कारक हैं?
सूर्य ग्रह स्वयं, अहंकार, जीवन शक्ति और जीवन के लक्ष्यों को दर्शाते हैं।
3. कन्या राशि के स्वामी कौन है?
ज्योतिष में कन्या राशि के स्वामी बुध देव को माना जाता है जो बुद्धि, वाणी, तर्क, और संचार के कारक हैं।